Maharashtra Politics: महाराष्ट्र में राजनीतिक घमासान अभी जारी है। वहीं इस कड़ी में सोमवार को महाराष्ट्र की राजनीतिक लड़ाई दिल्ली तक पहुंच गई। दरअसल, बागी विधायकों ने सुप्रीम कोर्ट में राजनीतिक घमासान को लेकर याचिका दाखिल की थी जिसपर सोमवार 27 जून को सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई।
बागी विधायक पहले हाई कोर्ट क्यों नहीं गए
सुप्रीम कोर्ट ने मामले पर सुनवाई करते हुए पूछा कि, बागी विधायक पहले हाई कोर्ट क्यों नहीं गए इस सवाल पर वकील ने जवाब दिया कि, मामला गंभीर था इसलिए सीधा सुप्रीम कोर्ट का रुख किया गया। शिंदे के वकील ने कोर्ट में बताया कि हमारे साथ शिवसेना के 39 विधायक हैं और लगातार धमकी दी जा रही है साथ ही विधायकों की संपत्ति को नुकसान पहुंचाया जा रहा है।
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SC ने इन लोगों के नाम जारी किया नोटिस
बागी विधायक एकनाथ शिंदे की याचिका पर सुनवाई के बाद सुप्रीम कोर्ट ने सभी पक्षों को नोटिस दे दिया है जिसका जवाब सभी पक्षों को 5 दिनों के अंदर देना है। जिन पक्षों को नोटिस दिया गया है उनमें महाराष्ट्र विधानसभा के डिप्टी स्पीकर, महाराष्ट्र विधानसभा के सचिव, केंद्र सरकार, महाराष्ट्र पुलिस, शिवसेना विधायक दल नेता अजय चौधरी, सुनील प्रभु आदि शामिल हैं।
शिंदे गुट को कोर्ट की तरफ से मिली राहत
मामले पर अगली सुनवाई 11 जुलाई को होगी। सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई के बाद शिंदे गुट को बड़ी कानूनी राहत मिल गई है। सुप्रीम कोर्ट की अगली सुनवाई तक बागी विधायकों को अयोग्य नहीं ठहराया जा सकता। पहले बागी विधायकों को जवाब देने के लिए सोमवार शाम तक का समय दिया गया था।