हरियाणा ( रिपोर्ट – सुनील जिंदल ) : गोहाना के गांव खानपुर में स्थित बीपीएस महिला में अस्थाई असिस्टेंट प्रोफेसर विश्वविद्यालय के प्रवेश द्वार पर टेंट गाड़ कर अनिश्चितकालीन धरने पर पिछले 15 दिनों से बैठे हुए हैं और हरियाणा के शिक्षा मंत्री और मुख्यमंत्री से उनकी मांगों को पूर्ण करने की मांग कर रहे हैं।
सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों के अनुरूप वेतन दिया जाने को लेकर अस्थाई असिस्टेंट प्रोफेसर शिक्षामंत्री कंवर पाल गुजर व पूर्व शिक्षा मंत्री राम बिलास शर्मा, सांसद सोनीपत रमेश कौशिक,पूर्व कैबिनेट मंत्री कविता जैन, सोनीपत के किसान मोर्चा के जिलाध्यक्ष तीर्थ राणा आदि बीजेपी के दिग्गज नेताओं से भी गुहार लगा चुके हैं लेकिन स्थिति ज्यों की त्यों है ।
प्रशासन द्वारा इस प्रकार की अनदेखी होने के कारण असिस्टेंट प्रोफेसरों की जायज मांगों को ओर लेट करने का प्रपंच रचा जा रहा जिसका सबूत इस बात से भी मिलता है कि इन शिक्षकों के धरने पर बैठने के इतने दिनों बाद भी प्रशासन की नींद नहीं खुली तथा उन के द्वारा अभी तक ऐसे कोई ठोस कदम नहीं उठाए गए जिससे कि इस समस्या को जल्द से जल्द सुलझाया जा सके। बता दें विभिन्न विभागों और संस्थानों में कुल 146 अस्थायी असिस्टैंट प्रोफ़ेसर कार्यरत हैं। सभी अस्थायी असिस्टैंट प्रोफेसर का कहना है कि जब तक उन्हें न्यूनतम वेतन 57700/- और एरियर नहीं मिलेगा तब तक यह संघर्ष जारी रहेगा।
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सर्व कर्मचारी संघ गोहाना का प्रतिनिधिमंडल खानपुर महिला विश्वविद्यालय में अस्थाई प्रोफेसर के धरने पर उनके समर्थन में पहुंचा और उसके बाद सर्व कर्मचारी संघ के नेताओं ने वाइस चांसलर सुषमा यादव से मुलाकात की, मुलाकात में वाइस चांसलर सुषमा यादव ने सर्व कर्मचारी संघ के नेताओं को 3 फरवरी की मुलाकात का समय दिया और कहा कि वह 3 फरवरी को मिनट्स जारी कर देंगे और उसके बाद जल्द से जल्द इन अस्थाई प्रोफेसरों की समस्या का समाधान करेंगी सर्व कर्मचारी संघ के नेताओं ने मिडिया के माध्यम से वाइस चांसलर सुषमा यादव को चेतवानी देते हुए कहा जल्द अस्थाई असिस्टेंट प्रोफेसरो को सातवें वेतन आयोग की सिफारिशों के अनुरूप नहीं लागू किया गया तो आने वाले दिनों इस आंदोलन को अपने हाथो में लेकर शहर भर में प्रदर्शन करने पर मजबूर होंगे ।