ज्योतिबा फुले जिनका पूरा नाम ज्योतिराव गोविंदराव फुले है इन्होंने समाज में महिलाओं की शिक्षा, किसानों व दलितों के उत्थान के लिए कार्य किया है ज्योतिबा फुले का जन्म 11 अप्रैल 1827 को महाराष्ट्र के कटगुण सतारा में हुआ था । ज्योतिबा के जन्म के 9 महीने के बाद ही उनके मां की मृत्यु हो गई थी जिसके चलते उनका लालन- पालन सगुनाबाई दाई ने किया था ।
छोटी उम्र में ही भेदभाव के चलते उन्होंने स्कूल छोड़ दिया था जिसके बाद कुछ समय के लिए सगुनाबाई ने ही उन्हें पढ़ाया । 12 वर्ष की उम्र में उनका विवाह सावित्री बाई फुले से हुआ जो आगे चलकर पहली प्रशिक्षित अध्यापक बनी । महिला शिक्षा को लेकर उन्हें समाज में काफी संघर्ष करना पड़ा जिसके चलते उन्हें घर भी छोड़ना पड़ा था । उनका मानना था कि ” माताएं जो संस्कार बच्चों पर डालती हैं, उसी से उन बच्चों के भविष्य के बीज होते हैं इसलिए लड़कियों को शिक्षित करना जरुरी है ।
घर छोड़ने के बाद ज्योतिबा ने महिलाओं के लिए तीन स्कूल खोले जिसमें चूंकि उन्हें कोई अन्य शिक्षक नही तो उन्होंने अपनी पत्नी को एक शिक्षिका के रुप में तैयार किया । दलित और निर्बल लोगों के लिए उन्होंने 1873 में सत्यशोधक समाज की स्थापाना की । उनकी इस समाजसेवा के चलते 1888 में उन्हें मुंबई की एक विशाल सभा में ‘महात्मा’ की उपाधि दी गई ।उन्होंने ब्राह्मण – पुरोहितों के बिना ही विवाह और संस्कार कराया जिसको आगे चलकर कोर्ट ने भी मान्यता दी । बाल विवाह विरोधी और विधवा विवाह के समर्थक थे । 1863 में उन्होंने बाल हत्या की रोकथाम के लिए संगठन की स्थापना की ।
ALSO READ – दिल्ली में बरसा आग का कहर, फर्नीचर मार्केट और झुग्गियों में लगी भीषण आग
बाबा अंबेडकर ज्योतिबा से काफी प्रभावित थे । उनका मानना था कि महात्मा फुले माॅडर्न इंडिया के सबसे महान शुद्र थे जिन्होंने पिछड़ी जाति के हिंदुओं को अगड़ी जाति के हिंदुओं का गुलाम होने के प्रति जागरुक कराया , जिन्होंने शिक्षा दी कि भारत के लिए विदेशी हुकूमत से स्वतंत्रता की तुलना में सामाजिक लोकतंत्र कही अधिक महत्वपूर्ण हैं ।
आज ज्योतिबा फुले की जयंती पर पीएम मोदी ने उन्हें नमन कर देश में कोरोना की स्थिति को देखते हुए ज्योतिबा फुले की जयंती से लेकर 14 अप्रैल डाॅ भीमराव अंबेडकर की जयंती तक टीका उत्सव की शुरुआत की है । इसके अतंर्गत जो लोग कम पढ़े लिखे है, बुजुर्ग हैं जो स्वंय जाकर टीका नही लगवा सकते उनकी मदद करें और अगर किसी क्षेत्र में कोई कोरोना पॅाजिटिव पाया जाता है तो वहां परिवार के लोग, समाज के लोग ‘माइक्रो कन्टेनमेंट जोन’ बनाएं।
महान समाजसेवी, विचारक, दार्शनिक एवं लेखक महात्मा ज्योतिबा फुले की जयंती पर उन्हें कोटि-कोटि नमन। वे जीवनपर्यंत महिलाओं की शिक्षा और उनके सशक्तिकरण के लिए प्रतिबद्ध रहे। समाज सुधार के प्रति उनकी निष्ठा आने वाली पीढ़ियों को प्रेरित करती रहेगी।
— Narendra Modi (@narendramodi) April 11, 2021
आज से हम सभी, देशभर में टीका उत्सव की शुरुआत कर रहे हैं। कोरोना के खिलाफ लड़ाई के इस चरण में देशवासियों से मेरे चार आग्रह हैं… https://t.co/8zXZ0bqYgl
— Narendra Modi (@narendramodi) April 11, 2021
Top Hindi News, Latest News Updates, Delhi Updates,Haryana News, click on Delhi Facebook, Delhi twitter and Also Haryana Facebook, Haryana Twitter.