नई दिल्ली – (तरूण कालरा की रिपोर्ट) –कांग्रेस पार्टी में सर्वोच्च निर्णय लेने वाली संस्था कांग्रेस वर्किंग कमेटी (CWC) की आज नई दिल्ली में बैठक हो रही है।
बैठक की सबसे खास बात ये है कि कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी ने सीडब्ल्यूसी बैठक में अपने इस्तीफ़े की पेशकश की है। सोनिया गांधी ने कहा नए अध्यक्ष के चुनाव की प्रक्रिया शुरू की जानी चाहिए। सोनिया गांधी की ओर से अपने इस्तीफे की पेशकश के बाद पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह और पूर्व रक्षा मंत्री एके एंटोनी ने कुछ नेताओं के कथित खत की आलोचना की और एके एंटनी ने बैठक में कहा कि सोनिया गांधी को अध्यक्ष पद पर बने रहना चाहिए। एंटनी के मुताबिक कांग्रेस हाई कमान को कमजोर करने का मतलब पार्टी को कमजोर करना है।
मनमोहन सिंह और एके एंटोनी के बाद खुद राहुल गांधी ने भी कथित 23 नेताओं के खत के समय की आलोचना की है। राहुल गांधी ने CWC के सामने 23 नेताओं के पत्र पर कहा कि जब सोनिया जी बीमार थीं और राजस्थान सरकार को बचाने की कोशिश चल रही थी ऐसे वक़्त पर पत्र क्यों लिखा गया।
इससे पहले अंदाजा लगाया जा रहा था कि पार्टी की सीडब्ल्यूसी बैठक में पार्टी के अंदर ही उठे मतभेदों पर भी चर्चा हो सकती है। क्योंकि राहुल गांधी ने 2019 में पार्टी के अध्यक्ष पद पर आसीन होने के बाद जिस तरह के फैसले लिये उससे बुजुर्ग कांग्रेसी नेता नाराज हुए। उनका मानना था कि राहुल गांधी जिस छोटे से समूह पर यकीन करते हैं, वो पार्टी की जरूरतों को नहीं समझते, इसलिए राहुल को उचित सलाह नहीं देते हैं।
मई 2019 में लोकसभा चुनाव परिणाम आने के बाद राहुल ने जिस कांग्रेस कार्य समिति की बैठक में अध्यक्ष पद से इस्तीफे की घोषणा की थी और उसकी एक और मीटिंग इस साल जून में हुई थी। तब कुछ सदस्यों ने राहुल से दोबारा कांग्रेस अध्यक्ष की कुर्सी संभालने का निवेदन किया था। राहुल ने दोनों मौकों पर पार्टी के दिग्गजों को कहा कि वो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर हमला नहीं करना चाहते हैं और वो ऐसा करने से डरते हैं।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता दिग्विजय सिंह ने ट्वीट कर कहा था कि कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह ने कहा गांधी परिवार के नेतृत्व के बिना नहीं चलेगी कांग्रेस राहुल गांधी जिद छोड़ें अध्यक्ष पद संभाले। यह समय कॉंग्रेस को एक मत होने का है। मत भिन्नता का नहीं। जिस परिवार ने देश की आज़ादी और उसके बाद जो देश के लिए त्याग और बलिदान किया है वह सर्व विदित है। मीडिया में जो कुछ आ रहा है मैं उस से सहमत नहीं हूँ। नेहरू गॉंधी परिवार के बिना कॉंग्रेस की मैं कल्पना भी नहीं कर सकता।
यह समय कॉंग्रेस को एक मत होने का है। मत भिन्नता का नहीं। जिस परिवार ने देश की आज़ादी और उसके बाद जो देश के लिए त्याग और बलिदान किया है वह सर्व विदित है। मीडिया में जो कुछ आ रहा है मैं उस से सहमत नहीं हूँ। नेहरू गॉंधी परिवार के बिना कॉंग्रेस की मैं कल्पना भी नहीं कर सकता।१/२
— digvijaya singh (@digvijaya_28) August 23, 2020
सोनिया जी का नेतृत्व सर्व मान्य है। यदि सोनिया जी कॉंग्रेस अध्यक्ष का पद छोड़ना ही चाहती हैं तो राहुल जी को अपनी ज़िद छोड़ कर अध्यक्ष का पद स्वीकार कर लेना चाहिए। देश का आम कॉंग्रेस कार्यकर्ता और किसी को स्वीकार नहीं करेगा।२/२
— digvijaya singh (@digvijaya_28) August 23, 2020
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