हरियाणा के शिक्षा मंत्री कंवर पाल ने पंचकूला में राष्ट्र स्तरीय डिजीटल लर्निंग ई–लेट्स एजुकेशन इनोवेशन समिट का उदघाटन किया। उद्घाटन करने के बाद उन्होंने कहा कि शिक्षा विभाग के साथ–साथ इस समिट में अन्य हितधारक भी सहयोग के लिए बधाई के पात्र हैं। उन्होंने कहा कि कोविड के बाद हर प्रदेश अपने अध्यापन व अध्ययन के तौर–तरीकों पर अलग–अलग तरह से कार्य कर रहे हैं और हमें एक–दूसरे से अलग–अलग जानकारियां प्राप्त होंगी। मुख्यमंत्री मनोहर लाल स्वयं आईटी के जानकार हैं और कई मामलों में वे अनूठी पहल कर चुके हैं जिसकी देशभर में चर्चा हुई है।
शिक्षा मंत्री ने कहा कि हाल ही में 5 मई को मुख्यमंत्री ने 10वीं से 12वीं तक के सरकारी स्कूलों के छात्रों व अध्यापकों को टैबलेट वितरण की शुरूआत की थी और अब तक 3 लाख से अधिक टैबलेट वितरित किए जा चुके हैं और 10वीं के नतीजे आने के बाद फिर टैबलेट वितरण का कार्य किया जाएगा। स्कूल के बच्चों को आईटी के टूल किट भी वितरित किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि प्रदेश के बच्चे किसी भी दृष्टि से कमजोर न रहें, इस दिशा में कठोर कदम उठाए जा रहे हैं। आज बड़े–बड़े नामी–गिरामी निजी स्कूलों से भी बच्चे हरियाणा के सरकारी स्कूलों में दाखिला ले रहे हैं। संस्कृति मॉडल स्कूल एक अच्छा प्रयास है, इससे शिक्षा की गुणवत्ता में और अधिक सुधार आएगा। उन्होंने कहा कि आज की कार्यशाला में जारी की गई डिजीटल लर्निंग की पुस्तिका एक उपयोगी दस्तावेज है, जिसमें विश्व भर में हो रहे शिक्षा परिवर्तनों की जानकारी दी गई है।
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नई शिक्षा नीति 2020 को देश में सबसे पहले क्रियान्वित करने की हरियाणा ने पहल की है और कहीं न कहीं आज का समिट भी उसी का हिस्सा है। आशा है कि दिन भर की चर्चा के बाद शिक्षा विशेषज्ञ अच्छे सुझाव देंगे और उन्हें शिक्षा नीति के क्रियान्वयन में शामिल किया जाएगा। शिक्षा मंत्री ने डिजीटल लर्निंग सोल्यूशन, डिजीटल क्लासरूम सोल्यूशन, डिजीटल बोर्ड सोल्यूशन, डिजीटल लैंगवेज लैब सोल्यूशन, सेक्योरिटी एण्ड सर्विलांस सोल्यूशन, स्कूलनैट, लर्निंग फॉर लाईट पर लगाई गई ई–एक्पो का अवलोकन भी किया। कार्यशाला में शिक्षा मंत्री ने ई–लेट में बेहतर प्रदर्शन के लिए पश्चिम बंगाल को कर्मभूमि तथा हरियाणा शिक्षा विभाग की एकैडमिक सेल तथा आशीष धाम को सम्मानित भी किया।