कांग्रेस ने चीन से जारी विवाद और देश के आर्थिक संकट पर मोदी सरकार को एक बार फिर से घेरा है। एलएसी पर चीनी परमाणु बॉम्बर्स की तैनाती और राज्यों को जीएसटी की क्षतिपूर्ति पर केंद्र के हाथ खड़े करने पर विपक्ष हमलावर हो गया है। देश के आर्थिक हालात और सीमापार से चीन विवाद पर लगातार कांग्रेस हमलावर है। कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने मीडिया रिपोर्ट्स को आधार बनाते हुए ट्वीटर वार किया है। रणदीप सुरजेवाला ने उन मीडिया रिपोर्ट्स को आधार बनाया है जिसमे एलएसी पर चीनी सेना ने परमाणु बॉम्बर्स की तैनाती कर दी है।
यह “आर्थिक अराजकता” नही तो क्या है?
The truth of “Economic Anarchy” ! pic.twitter.com/GGT8WBusJp
— Randeep Singh Surjewala (@rssurjewala) August 3, 2020
सुरजेवाला ने ट्वीट करते हुए आग्रह किया की प्रधानमंत्री व भारत सरकार देश की संप्रभुता व भूभागीय अखंडता के लिए हर आवश्यक कदम उठायें। चीन एक तरफ एलएसी पर शांति बहाली की बात कर रहा हैं वहीं दूसरी तरफ भारतीय सीमा के करीब उसने काशगर एयरपोर्ट पर परमाणु बमों से लैस अपने कई बम्बर तैनात किए हैं। सैटेलाइट द्वारा ली गई कुछ तस्वीरों से चीन के खतरनाक मंसूबों के बारे में पता चला है।
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नई तस्वीरों में देखा जा सकता है कि चीन की पीपल्स लिबरेशन आर्मी ने भारतीय सीमा के करीब काशगर एयरपोर्ट पर परमाणु बमों से लैश अपने कई बॉम्बर एयरक्राफ्ट तैनात किए हैं। ओपन इंटेलिजेंस सोर्स डिट्रेस्फा ने ट्वीट कर सैटलाइट इमेज जारी किए हैं जिसमें काशगर एयरबेस पर चीन के रणनीतिक बॉम्बर और दूसरे आधुनिक और खतरनाक हथियार भी तैनात दिख रहे हैं।
Dr. Manmohan Singh & @pravchak write on “Rebuilding Confidence” in India Story.
Questions, however, is whether a Govt guilty of repeated policy negligence & misconceived notions is willing to listen to the sage advise?https://t.co/JT2GQtVowj
— Randeep Singh Surjewala (@rssurjewala) August 3, 2020
सैटलाइट तस्वीरों में दिखाया गया है कि इस बेस पर 6 शियान एच-6 बॉम्बर हैं जिनमें से दो पेलोड के साथ हैं। इनके अलावा 12 शियान जेएच-7 फाइटर बॉम्बर हैं जिनमें से दो पर पेलोड हैं। वहीं, 4 शेनयान्ग जे11/16 फाइटर प्लेन भी हैं जिनकी रेंज 3530 किलोमीटर है। सुरजेवाला का दूसरा ट्वीटर वार देश के आर्थिक हालातो पर राज्यो के प्रति केंद्र के उदासीन रवैये पर रहा। सुरजेवाला ने इसे आर्थिक अराजकता करार दिया। सुरजेवाला ने आरोप में मीडिया रिपोर्ट्स का हवाला दिया जिसमे राज्यो को जीएसटी की क्षतिपूर्ति के लिए केंद्र ने हाथ खड़े कर लिए हैं। जीएसटी क्षतिपूर्ति पर केंद्र और राज्य सरकारों के बीच घमासान शुरू हो चुका है।
क्षतिपूर्ति के लिए हर 2 महीने में केंद्र सरकार को राज्य सरकारों को भुगतान करना होता है। लेकिन पिछले 4 महीनों से जीएसटी क्षतिपूर्ति का भुगतान बकाया है । राज्य सरकारे अपनी इस मांग को लेकर केंद्र सरकार पर लगातार दबाव बना रही है । लेकिन करोना काल के मद्देनजर आर्थिक संकट से जूझ रही केंद्र सरकार पिछले 4 महीनों से प्रतिपूर्ति करने में असमर्थ रही है।