पंजाब कांग्रेस अध्यक्षपद से इस्तीफे के बाद नवजोत सिद्धू ने पहली बार प्रतिक्रिया दी है। सिद्धू ने कहा कि 6 साल पहले जिन्होंने बादलों को क्लीन चिट दी उन्हें इंसाफ का जिम्मा सौंपा गया है। सिद्धू ने कहा कि उन्होंने हाईकमान को न गुमराह किया और न होने देंगे।
इस बीच पंजाब के मुख्यमंत्री चरणजीत सिंह चन्नी ने मुद्दे न हल करने के मामले में इस्तीफा देने वाले नवजोत सिंह सिद्धू को इशारों-इशारों में जवाब दिया। सीएम चन्नी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान कहा कि पार्टी प्रधान परिवार का मुखिया होता है। मुखिया को परिवार में अपनी बात मजबूती से रखकर उसे आगे बढ़ाना होता है। उन्हें कोई ऐतराज है तो आएं और बात करें। उनकी सरकार लगातार काम कर रही है, जो भी मसले हैं मिल बैठकर हल हो जाएंगे।
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इससे पहले नवजोत सिद्धू के अचानक इस्तीफा देने से कांग्रेस हाईकमान नाराज नजर आ रहा है। उन्हें मनाने के लिए किसी नेता को दिल्ली से नहीं भेजा गया। CM चरणजीत चन्नी को ही यह जिम्मेदारी सौंप दी गई। अब कांग्रेस के वरिष्ठ नेताओं ने सिद्धू पर हमले शुरू कर दिए हैं।
पंजाब कांग्रेस प्रधान से इस्तीफा देने वाले नवजोत सिद्धू पर पूर्व केंद्रीय मंत्री मनीष तिवारी ने हमला बोला। तिवारी ने कहा कि पंजाब उनके हाथों में दे दिया गया, जिन्हें वहां की समझ ही नहीं है। पंजाब पाकिस्तान का सीमा से लगा राज्य है। इसे सही तरीके से हैंडल नहीं किया गया। तिवारी ने इसे दुर्भाग्यपूर्ण करार दिया। सिद्धू का नाम लिए बिना तिवारी ने कहा कि पंजाब के हालात देख इस वक्त अगर कोई सबसे ज्यादा खुश होगा तो वह पाकिस्तान है। तिवारी ने कहा कि पंजाब में इस वक्त राजनीतिक स्थिरता की जरूरत है।
पूर्व केंद्रीय मंत्री डॉ. अश्वनी कुमार ने भी सिद्धू मामले में प्रतिक्रिया दी। अश्वनी कुमार ने सिद्धू के इस्तीफे को दुर्भाग्यपूर्ण बताया। हालांकि उन्होंने कहा कि अब स्थिति को सही करने में हम समय नहीं गंवा सकते। हमें तुरंत पंजाब प्रदेश कांग्रेस कमेटी का नया प्रधान नियुक्त कर देना चाहिए।